गांव में शिक्षा संस्थानों की भूमिका पर मैनिट में सेमिनार:IIT प्रोफेसर बोले-परंपरागत ज्ञान से स्ट्रे कैटल जैसी मॉडर्न समस्याओं का समाधान संभव

उन्नत भारत अभियान (यूबीए) के तहत गांवों के विकास के लिए देश के 4 हजार 50 कॉलेज 20 हजार गांवों में काम कर रहे हैं। कॉलेज स्टूडेंट्स गांव में पहुंच समस्याओं और ग्राउंड रियलिटी को समझते हैं, फिर उसके आधार पर ऐसे इनोवेशन या रिसर्च करते हैं, जो ग्राउंड लेवल पर खरे उतरें। इसके साथ ही स्टूडेंट्स को गांव से परंपरागत ज्ञान मिलता है। उदाहरण के लिए किसान से उन्हें किस मिट्‌टी में गेहूं उगाने में कितना पानी देना चाहिए, कुम्हार से मिट्‌टी की खासियत और उसके नेचर की जानकारी समेत गांव में ऐसे पेशेवरों से ट्रेडिशनल विस्डम मिलता है। यही ज्ञान केमिकल के बढ़ते ‌उपयोग, पर्यावरण परिवर्तन, स्ट्रे कैटल जैसी मॉडर्न समस्याओं के समाधान खोजने में सहायक साबित होगा। यह बातें उन्नत भारत अभियान (यूबीए) के राष्ट्रीय समन्वयक और आईआईटी दिल्ली के प्रोफेसर वीरेंद्र कुमार विजय ने कही। वे मैनिट में आयोजित 'गांव में उच्च शिक्षा संस्थानों की भूमिका' पर राष्ट्रीय सेमिनार में भाग लेने भोपाल आए थे। देश भर के नीति निर्माता आए साथ इस सेमिनार में देश भर के नीति निर्माता, शिक्षाविद, ग्रामीण विकास विशेषज्ञ और संस्थागत प्रतिनिधि एक साथ आए। इस कार्यक्रम का समन्वय यूबीए मैनिट के क्षेत्रीय समन्वयक डॉ. पुष्पेंद्र यादव ने किया। मैनिट के निदेशक डॉ. केके शुक्ला ने मुख्य संरक्षक के रूप में कार्य किया। COW इकोनॉमी है स्ट्रे कैटल समस्या का समाधान कामधेनु राष्ट्रीय आयोग के पूर्व अध्यक्ष डॉ. वल्लभ भाई कथीरिया ने कहा कि आवारा पशुओं की समस्या का हल COW इकोनॉमी (गाय पर आधारित अर्थव्यवस्था) है। किसान गाय को आवारा इसलिए छोड़ देते हैं, क्योंकि दूध नहीं देने पर उसका खर्च उठाना भारी पड़ता है। ऐसी ही स्थिति बैल के साथ होती है। जब वो खेत में काम नहीं करता तो उसे आवारा छोड़ दिया जाता है। इसका हल यह है कि गांव तक यह जानकारी पहुंचे कि गोवंश से मिलने वाला गोबर और गोमूत्र भी कमाई का साधन बन सकता है। उदाहरण के लिए गोमूत्र से बायो पेस्टिसाइड, बायो फर्टिलाइजर और बायो मेडिसिन बनती हैं। इसी तरह गोबर से भी कई वस्तुएं बनाई जा सकती हैं। इस दिशा में यदि स्टूडेंट्स नए स्टार्टअप शुरू करेंगे तो यह स्ट्रे कैटल की समस्या को खत्म करते हुए कमाई के नए रास्ते भी खोलेगा।

गांव में शिक्षा संस्थानों की भूमिका पर मैनिट में सेमिनार:IIT प्रोफेसर बोले-परंपरागत ज्ञान से स्ट्रे कैटल जैसी मॉडर्न समस्याओं का समाधान संभव
उन्नत भारत अभियान (यूबीए) के तहत गांवों के विकास के लिए देश के 4 हजार 50 कॉलेज 20 हजार गांवों में काम कर रहे हैं। कॉलेज स्टूडेंट्स गांव में पहुंच समस्याओं और ग्राउंड रियलिटी को समझते हैं, फिर उसके आधार पर ऐसे इनोवेशन या रिसर्च करते हैं, जो ग्राउंड लेवल पर खरे उतरें। इसके साथ ही स्टूडेंट्स को गांव से परंपरागत ज्ञान मिलता है। उदाहरण के लिए किसान से उन्हें किस मिट्‌टी में गेहूं उगाने में कितना पानी देना चाहिए, कुम्हार से मिट्‌टी की खासियत और उसके नेचर की जानकारी समेत गांव में ऐसे पेशेवरों से ट्रेडिशनल विस्डम मिलता है। यही ज्ञान केमिकल के बढ़ते ‌उपयोग, पर्यावरण परिवर्तन, स्ट्रे कैटल जैसी मॉडर्न समस्याओं के समाधान खोजने में सहायक साबित होगा। यह बातें उन्नत भारत अभियान (यूबीए) के राष्ट्रीय समन्वयक और आईआईटी दिल्ली के प्रोफेसर वीरेंद्र कुमार विजय ने कही। वे मैनिट में आयोजित 'गांव में उच्च शिक्षा संस्थानों की भूमिका' पर राष्ट्रीय सेमिनार में भाग लेने भोपाल आए थे। देश भर के नीति निर्माता आए साथ इस सेमिनार में देश भर के नीति निर्माता, शिक्षाविद, ग्रामीण विकास विशेषज्ञ और संस्थागत प्रतिनिधि एक साथ आए। इस कार्यक्रम का समन्वय यूबीए मैनिट के क्षेत्रीय समन्वयक डॉ. पुष्पेंद्र यादव ने किया। मैनिट के निदेशक डॉ. केके शुक्ला ने मुख्य संरक्षक के रूप में कार्य किया। COW इकोनॉमी है स्ट्रे कैटल समस्या का समाधान कामधेनु राष्ट्रीय आयोग के पूर्व अध्यक्ष डॉ. वल्लभ भाई कथीरिया ने कहा कि आवारा पशुओं की समस्या का हल COW इकोनॉमी (गाय पर आधारित अर्थव्यवस्था) है। किसान गाय को आवारा इसलिए छोड़ देते हैं, क्योंकि दूध नहीं देने पर उसका खर्च उठाना भारी पड़ता है। ऐसी ही स्थिति बैल के साथ होती है। जब वो खेत में काम नहीं करता तो उसे आवारा छोड़ दिया जाता है। इसका हल यह है कि गांव तक यह जानकारी पहुंचे कि गोवंश से मिलने वाला गोबर और गोमूत्र भी कमाई का साधन बन सकता है। उदाहरण के लिए गोमूत्र से बायो पेस्टिसाइड, बायो फर्टिलाइजर और बायो मेडिसिन बनती हैं। इसी तरह गोबर से भी कई वस्तुएं बनाई जा सकती हैं। इस दिशा में यदि स्टूडेंट्स नए स्टार्टअप शुरू करेंगे तो यह स्ट्रे कैटल की समस्या को खत्म करते हुए कमाई के नए रास्ते भी खोलेगा।