राशन कार्ड धारकों को ई-केवायसी कराना जरूरी:30 अप्रैल तक नहीं किया तो नहीं मिलेगा राशन; खाद्य विभाग की टीमें घर-घर जाकर कर रही KYC
राशन कार्ड धारकों को ई-केवायसी कराना जरूरी:30 अप्रैल तक नहीं किया तो नहीं मिलेगा राशन; खाद्य विभाग की टीमें घर-घर जाकर कर रही KYC
बुरहानपुर जिले में राशन कार्ड उपभोक्ताओं को 30 अप्रैल तक ई-केवायसी कराना अनिवार्य कर दिया गया है। ग्रामीण क्षेत्रों में ई-केवायसी की प्रक्रिया धीमी चल रही है। इसका मुख्य कारण है कि बड़ी संख्या में मजदूर परिवार रोजगार की तलाश में महाराष्ट्र, गुजरात, राजस्थान और कर्नाटक जैसे राज्यों में पलायन कर चुके हैं। खाद्य नागरिक आपूर्ति विभाग की टीमें घर-घर जाकर ई-केवायसी कर रही हैं। ग्राम बाकड़ी में सेल्समैन मेघनाथ पाटिल द्वारा यह कार्य किया जा रहा है। लेकिन कई घरों में लोगों के नहीं मिलने से समस्या आ रही है। विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि जो लोग 30 अप्रैल तक ई-केवायसी नहीं कराएंगे, उन्हें मई माह से राशन नहीं मिलेगा। साथ ही उनके नाम राशन पर्ची से काट दिए जाएंगे। अधिकारियों के अनुसार, यह कार्रवाई प्रदेशभर में चल रही राशनकार्ड समीक्षा का हिस्सा है। इसका उद्देश्य राशन वितरण प्रणाली को अधिक पारदर्शी और प्रभावी बनाना है। जिले में प्रत्येक परिवार की ई-केवायसी अनिवार्य की गई है और इस कार्य को शत-प्रतिशत पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।
बुरहानपुर जिले में राशन कार्ड उपभोक्ताओं को 30 अप्रैल तक ई-केवायसी कराना अनिवार्य कर दिया गया है। ग्रामीण क्षेत्रों में ई-केवायसी की प्रक्रिया धीमी चल रही है। इसका मुख्य कारण है कि बड़ी संख्या में मजदूर परिवार रोजगार की तलाश में महाराष्ट्र, गुजरात, राजस्थान और कर्नाटक जैसे राज्यों में पलायन कर चुके हैं। खाद्य नागरिक आपूर्ति विभाग की टीमें घर-घर जाकर ई-केवायसी कर रही हैं। ग्राम बाकड़ी में सेल्समैन मेघनाथ पाटिल द्वारा यह कार्य किया जा रहा है। लेकिन कई घरों में लोगों के नहीं मिलने से समस्या आ रही है। विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि जो लोग 30 अप्रैल तक ई-केवायसी नहीं कराएंगे, उन्हें मई माह से राशन नहीं मिलेगा। साथ ही उनके नाम राशन पर्ची से काट दिए जाएंगे। अधिकारियों के अनुसार, यह कार्रवाई प्रदेशभर में चल रही राशनकार्ड समीक्षा का हिस्सा है। इसका उद्देश्य राशन वितरण प्रणाली को अधिक पारदर्शी और प्रभावी बनाना है। जिले में प्रत्येक परिवार की ई-केवायसी अनिवार्य की गई है और इस कार्य को शत-प्रतिशत पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।