सीजन में पहली बार एमपी में लू का अलर्ट:7-8 अप्रैल को उज्जैन-ग्वालियर में हीट वेव चलेगी; भोपाल-इंदौर में तेज गर्मी

गर्मी के इस सीजन में पहली बार मध्यप्रदेश में हीट वेव यानी, लू का अलर्ट है। मौसम विभाग ने 7 और 8 अप्रैल को उज्जैन, ग्वालियर और चंबल संभाग के 10 जिलों में लू चलने की संभावना जताई है। वहीं, भोपाल, इंदौर, जबलपुर-सागर संभाग में भी तेज गर्मी पड़ने का अनुमान है। IMD, भोपाल की सीनियर वैज्ञानिक डॉ. दिव्या ई. सुरेंद्रन ने बताया कि शुक्रवार को दो साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम और एक वेस्टर्न डिस्टरबेंस साइक्लोनिक सर्कुलेशन के रूप में एक्टिव रहा। इस वजह से कहीं-कहीं हल्की बारिश और बादल छाए रहे। यह सिस्टम शनिवार को कमजोर हो जाएगा। इसके बाद गर्मी का असर बढ़ेगा। जिससे तापमान में भी बढ़ोतरी होगी। अगले 3 से 4 दिन तक दिन का तापमान बढ़ सकता है। वहीं, 7-8 अप्रैल को हीट वेव यानी, गर्म हवा चलने का अनुमान है। दो दिन तेज गर्मी का अलर्ट मौसम विभाग के अनुसार, 7 अप्रैल को नीमच, मंदसौर, ग्वालियर, श्योपुर, मुरैना, भिंड और दतिया में लू चल सकती है। 8 अप्रैल को नीमच, मंदसौर, श्योपुर, मुरैना, ग्वालियर, भिंड, दतिया, शिवपुरी, गुना और अशोकनगर में हीट वेव का असर रहेगा। कहीं बारिश तो कहीं दिन के तापमान में बढ़ोतरी इससे पहले गुरुवार को भिंड, मुरैना, ग्वालियर, दतिया, गुना, अशोकनगर, विदिशा, रायसेन, सीहोर, भोपाल, हरदा, नर्मदापुरम, बैतूल, बड़वानी, खरगोन, बुरहानपुर, खंडवा, सागर, दमोह, छिंदवाड़ा, सिवनी, बालाघाट और मंडला में हल्की बारिश हुई थी। वहीं, शुक्रवार को ग्वालियर, दतिया, भिंड, मुरैना, सिंगरौली, सीधी, अनूपपुर, शहडोल और डिंडौरी में बादल, गरज-चमक वाला मौसम रहा। हल्की बूंदाबांदी भी हुई। प्रदेश के अन्य शहरों में गर्मी का असर देखा गया। कई जगहों पर तो पारा 7 डिग्री तक बढ़ गया। नर्मदापुरम-रतलाम में 40 डिग्री, खजुराहो में 39.2 डिग्री, धार में 39.1 डिग्री, गुना-टीकमगढ़ में 39 डिग्री, नौगांव में 38.4 डिग्री, खरगोन में 38.2 डिग्री और सतना में पारा 38 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। बड़े शहरों की बात करें तो भोपाल में 37.6 डिग्री, इंदौर में 37.4 डिग्री, ग्वालियर में 38 डिग्री, उज्जैन में 38.2 डिग्री और जबलपुर में 37 डिग्री सेल्सियस रहा। अप्रैल में प्रदेश में 7 से 10 दिन चल सकती है लू मध्यप्रदेश में अप्रैल महीने में मौसम का मिला-जुला असर देखने को मिलेगा। पहले और दूसरे सप्ताह में हल्की बारिश हो सकती है। वहीं, दूसरे सप्ताह से लू भी चलेगी। सबसे गर्म आखिरी सप्ताह रहेगा। दिन का तापमान 45 डिग्री पार हो सकता है। ग्वालियर, चंबल, सागर, रीवा, इंदौर, उज्जैन और भोपाल में लू भी चल सकती है। मौसम केंद्र भोपाल के वैज्ञानिक निदेशक डॉ. वेदप्रकाश सिंह ने बताया, इस बार तापमान के सामान्य से अधिक रहने की संभावना है। वहीं, प्रदेश में अप्रैल महीने में 7 से 10 दिन तक हीट वेव यानी, लू का असर देखने को मिल सकता है। ऐसे रहेंगे 4 सप्ताह इंदौर, ग्वालियर, चंबल, सागर, रीवा और शहडोल संभाग में तापमान सामान्य से थोड़े अधिक (41-43 डिग्री) रहेंगे। वहीं, 2 से 3 दिन लू भी चल सकती है। भोपाल, नर्मदापुरम, उज्जैन और जबलपुर संभाग में सामान्य (39-42 डिग्री) रहेंगे। इस दौरान बारिश होने की संभावना तो नहीं है, लेकिन वेस्टर्न डिस्टरबेंस की वजह से दक्षिणी हिस्से में बादल जरूर छा सकते हैं। हालांकि, बंगाल क्षेत्र में साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम की वजह से अप्रैल के आखिरी में 3 से 4 दिन तक लू का असर रह सकता है। अप्रैल-मई में सबसे ज्यादा गर्मी जिस तरह दिसंबर-जनवरी में सर्दी और जुलाई-अगस्त में सबसे ज्यादा बारिश होती है, उसी तरह गर्मी के दो प्रमुख महीने अप्रैल और मई हैं। इस बार मार्च के दूसरे पखवाड़े में पारा 41 डिग्री के पार पहुंच चुका है। मार्च महीने के आखिरी में ही टेम्परेचर बढ़ने लगता है, लेकिन इस बार भी ऐसा मौसम नहीं रहा। आखिरी 3 दिन वेस्टर्न डिस्टरबेंस (पश्चिमी विक्षोभ) और साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम की वजह से पारे में गिरावट हुई। अप्रैल के पहले पखवाड़े में मौसम का असर मिला-जुला रहेगा। अप्रैल में गर्मी की 10 साल की डेटा बेस्ड स्टडी प्रदेश में अप्रैल के दूसरे पखवाड़े से गर्मी का असर तेज होने लगता है और महीने के आखिरी दिनों में तो तापमान रिकॉर्ड तोड़ देते हैं। भोपाल, इंदौर, जबलपुर और ग्वालियर के 10 साल की डेटा बेस्ड स्टडी में सामने आया कि भोपाल-इंदौर में पारा 43 डिग्री तक पहुंचा, जबकि जबलपुर में आंकड़े ने 44 डिग्री को छू लिया। ग्वालियर में तो तापमान 45 डिग्री के पार पहुंच चुका है। पिछले तीन साल इन शहरों में तेज गर्मी पड़ी। अबकी बार भी टेम्परेचर में बढ़ोतरी की संभावना है। भोपाल: 1996 में सबसे ज्यादा गर्मी, बारिश भी हुई अप्रैल में गर्मी के ट्रेंड की बात करें, तो भोपाल में 29 अप्रैल 1996 को अधिकतम तापमान 44.4 डिग्री सेल्सियस पहुंचा था। इस महीने भोपाल में बारिश-आंधी के आसार भी बनते हैं। यही कारण है कि पिछले कुछ सालों से अप्रैल में बारिश का दौर चल रहा है। 20 अप्रैल 2013 को भोपाल में 24 घंटे के भीतर 30.8 मिमी यानी, एक इंच से ज्यादा बारिश हुई थी। वहीं, 2023 में 22.6 मिमी पानी गिरा था। वहीं, 17-18 अप्रैल को तापमान 40.9 डिग्री रहा था। इंदौर में पिछले साल गिरा था 22.3 मिमी पानी इंदौर में भी पारा 44 डिग्री के पार पहुंच चुका है। मौसम विभाग के अनुसार 25 अप्रैल 1958 को सर्वाधिक 44.6 डिग्री तापमान दर्ज किया गया था। इस महीने यहां भी मौसम में बदलाव देखने को मिलता है। इसके चलते बादल छाए रहते हैं तो बौछारें भी गिरती हैं। पिछले साल 22.3 मिमी बारिश हुई थी। वर्ष 2014 से 2024 के बीच 6 साल बारिश हो चुकी है। जबलपुर में तेज गर्मी का ट्रेंड जबलपुर की बात करें, तो यहां एक बार पारा 45 डिग्री के पार रहा। मौसम विभाग के अनुसार 28 अप्रैल 1970 को दिन का तापमान 45.4 डिग्री रहा था। अप्रैल में यहां भी बारिश होने की संभावना रहती है। रिकॉर्ड के अनुसार 3 अप्रैल 1935 को 24 घंटे के भीतर 50.3 मिमी बारिश हुई थी, जो दो इंच के करीब ही है। 2023 में 20.2 मिमी बारिश हुई थी। इस साल

सीजन में पहली बार एमपी में लू का अलर्ट:7-8 अप्रैल को उज्जैन-ग्वालियर में हीट वेव चलेगी; भोपाल-इंदौर में तेज गर्मी
गर्मी के इस सीजन में पहली बार मध्यप्रदेश में हीट वेव यानी, लू का अलर्ट है। मौसम विभाग ने 7 और 8 अप्रैल को उज्जैन, ग्वालियर और चंबल संभाग के 10 जिलों में लू चलने की संभावना जताई है। वहीं, भोपाल, इंदौर, जबलपुर-सागर संभाग में भी तेज गर्मी पड़ने का अनुमान है। IMD, भोपाल की सीनियर वैज्ञानिक डॉ. दिव्या ई. सुरेंद्रन ने बताया कि शुक्रवार को दो साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम और एक वेस्टर्न डिस्टरबेंस साइक्लोनिक सर्कुलेशन के रूप में एक्टिव रहा। इस वजह से कहीं-कहीं हल्की बारिश और बादल छाए रहे। यह सिस्टम शनिवार को कमजोर हो जाएगा। इसके बाद गर्मी का असर बढ़ेगा। जिससे तापमान में भी बढ़ोतरी होगी। अगले 3 से 4 दिन तक दिन का तापमान बढ़ सकता है। वहीं, 7-8 अप्रैल को हीट वेव यानी, गर्म हवा चलने का अनुमान है। दो दिन तेज गर्मी का अलर्ट मौसम विभाग के अनुसार, 7 अप्रैल को नीमच, मंदसौर, ग्वालियर, श्योपुर, मुरैना, भिंड और दतिया में लू चल सकती है। 8 अप्रैल को नीमच, मंदसौर, श्योपुर, मुरैना, ग्वालियर, भिंड, दतिया, शिवपुरी, गुना और अशोकनगर में हीट वेव का असर रहेगा। कहीं बारिश तो कहीं दिन के तापमान में बढ़ोतरी इससे पहले गुरुवार को भिंड, मुरैना, ग्वालियर, दतिया, गुना, अशोकनगर, विदिशा, रायसेन, सीहोर, भोपाल, हरदा, नर्मदापुरम, बैतूल, बड़वानी, खरगोन, बुरहानपुर, खंडवा, सागर, दमोह, छिंदवाड़ा, सिवनी, बालाघाट और मंडला में हल्की बारिश हुई थी। वहीं, शुक्रवार को ग्वालियर, दतिया, भिंड, मुरैना, सिंगरौली, सीधी, अनूपपुर, शहडोल और डिंडौरी में बादल, गरज-चमक वाला मौसम रहा। हल्की बूंदाबांदी भी हुई। प्रदेश के अन्य शहरों में गर्मी का असर देखा गया। कई जगहों पर तो पारा 7 डिग्री तक बढ़ गया। नर्मदापुरम-रतलाम में 40 डिग्री, खजुराहो में 39.2 डिग्री, धार में 39.1 डिग्री, गुना-टीकमगढ़ में 39 डिग्री, नौगांव में 38.4 डिग्री, खरगोन में 38.2 डिग्री और सतना में पारा 38 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। बड़े शहरों की बात करें तो भोपाल में 37.6 डिग्री, इंदौर में 37.4 डिग्री, ग्वालियर में 38 डिग्री, उज्जैन में 38.2 डिग्री और जबलपुर में 37 डिग्री सेल्सियस रहा। अप्रैल में प्रदेश में 7 से 10 दिन चल सकती है लू मध्यप्रदेश में अप्रैल महीने में मौसम का मिला-जुला असर देखने को मिलेगा। पहले और दूसरे सप्ताह में हल्की बारिश हो सकती है। वहीं, दूसरे सप्ताह से लू भी चलेगी। सबसे गर्म आखिरी सप्ताह रहेगा। दिन का तापमान 45 डिग्री पार हो सकता है। ग्वालियर, चंबल, सागर, रीवा, इंदौर, उज्जैन और भोपाल में लू भी चल सकती है। मौसम केंद्र भोपाल के वैज्ञानिक निदेशक डॉ. वेदप्रकाश सिंह ने बताया, इस बार तापमान के सामान्य से अधिक रहने की संभावना है। वहीं, प्रदेश में अप्रैल महीने में 7 से 10 दिन तक हीट वेव यानी, लू का असर देखने को मिल सकता है। ऐसे रहेंगे 4 सप्ताह इंदौर, ग्वालियर, चंबल, सागर, रीवा और शहडोल संभाग में तापमान सामान्य से थोड़े अधिक (41-43 डिग्री) रहेंगे। वहीं, 2 से 3 दिन लू भी चल सकती है। भोपाल, नर्मदापुरम, उज्जैन और जबलपुर संभाग में सामान्य (39-42 डिग्री) रहेंगे। इस दौरान बारिश होने की संभावना तो नहीं है, लेकिन वेस्टर्न डिस्टरबेंस की वजह से दक्षिणी हिस्से में बादल जरूर छा सकते हैं। हालांकि, बंगाल क्षेत्र में साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम की वजह से अप्रैल के आखिरी में 3 से 4 दिन तक लू का असर रह सकता है। अप्रैल-मई में सबसे ज्यादा गर्मी जिस तरह दिसंबर-जनवरी में सर्दी और जुलाई-अगस्त में सबसे ज्यादा बारिश होती है, उसी तरह गर्मी के दो प्रमुख महीने अप्रैल और मई हैं। इस बार मार्च के दूसरे पखवाड़े में पारा 41 डिग्री के पार पहुंच चुका है। मार्च महीने के आखिरी में ही टेम्परेचर बढ़ने लगता है, लेकिन इस बार भी ऐसा मौसम नहीं रहा। आखिरी 3 दिन वेस्टर्न डिस्टरबेंस (पश्चिमी विक्षोभ) और साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम की वजह से पारे में गिरावट हुई। अप्रैल के पहले पखवाड़े में मौसम का असर मिला-जुला रहेगा। अप्रैल में गर्मी की 10 साल की डेटा बेस्ड स्टडी प्रदेश में अप्रैल के दूसरे पखवाड़े से गर्मी का असर तेज होने लगता है और महीने के आखिरी दिनों में तो तापमान रिकॉर्ड तोड़ देते हैं। भोपाल, इंदौर, जबलपुर और ग्वालियर के 10 साल की डेटा बेस्ड स्टडी में सामने आया कि भोपाल-इंदौर में पारा 43 डिग्री तक पहुंचा, जबकि जबलपुर में आंकड़े ने 44 डिग्री को छू लिया। ग्वालियर में तो तापमान 45 डिग्री के पार पहुंच चुका है। पिछले तीन साल इन शहरों में तेज गर्मी पड़ी। अबकी बार भी टेम्परेचर में बढ़ोतरी की संभावना है। भोपाल: 1996 में सबसे ज्यादा गर्मी, बारिश भी हुई अप्रैल में गर्मी के ट्रेंड की बात करें, तो भोपाल में 29 अप्रैल 1996 को अधिकतम तापमान 44.4 डिग्री सेल्सियस पहुंचा था। इस महीने भोपाल में बारिश-आंधी के आसार भी बनते हैं। यही कारण है कि पिछले कुछ सालों से अप्रैल में बारिश का दौर चल रहा है। 20 अप्रैल 2013 को भोपाल में 24 घंटे के भीतर 30.8 मिमी यानी, एक इंच से ज्यादा बारिश हुई थी। वहीं, 2023 में 22.6 मिमी पानी गिरा था। वहीं, 17-18 अप्रैल को तापमान 40.9 डिग्री रहा था। इंदौर में पिछले साल गिरा था 22.3 मिमी पानी इंदौर में भी पारा 44 डिग्री के पार पहुंच चुका है। मौसम विभाग के अनुसार 25 अप्रैल 1958 को सर्वाधिक 44.6 डिग्री तापमान दर्ज किया गया था। इस महीने यहां भी मौसम में बदलाव देखने को मिलता है। इसके चलते बादल छाए रहते हैं तो बौछारें भी गिरती हैं। पिछले साल 22.3 मिमी बारिश हुई थी। वर्ष 2014 से 2024 के बीच 6 साल बारिश हो चुकी है। जबलपुर में तेज गर्मी का ट्रेंड जबलपुर की बात करें, तो यहां एक बार पारा 45 डिग्री के पार रहा। मौसम विभाग के अनुसार 28 अप्रैल 1970 को दिन का तापमान 45.4 डिग्री रहा था। अप्रैल में यहां भी बारिश होने की संभावना रहती है। रिकॉर्ड के अनुसार 3 अप्रैल 1935 को 24 घंटे के भीतर 50.3 मिमी बारिश हुई थी, जो दो इंच के करीब ही है। 2023 में 20.2 मिमी बारिश हुई थी। इस साल 19 अप्रैल को अधिकतम तापमान 40.8 डिग्री तक पहुंचा था। ग्वालियर में पड़ती है सबसे ज्यादा गर्मी ग्वालियर में अप्रैल की गर्मी का ट्रेंड बाकी शहरों से अलग रहता है। यहां ज्यादा गर्मी पड़ती है। बीते 10 साल में यहां एक बार 45 डिग्री और 3 बार पारा 44 डिग्री के पार पहुंच चुका है। 28 अप्रैल 1958 को पारा 46.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। एक दिन में सर्वाधिक बारिश होने का रिकॉर्ड वर्ष 1909 को बना था। 22 अप्रैल को कुल 67.6 मिमी बारिश हुई थी। इसी साल अप्रैल महीने में साढ़े 4 इंच पानी गिरा था। 2023 में भी बारिश हुई थी। उज्जैन में भी गर्मी, बारिश का ट्रेंड उज्जैन में भी अप्रैल महीने में गर्मी और बारिश का ट्रेंड रहता है। 18 अप्रैल 2010 को रिकॉर्ड 45.2 डिग्री तापमान पहुंचा था। वहीं, 2014 से 2023 के बीच दो बार पारा 43 डिग्री के पार रह चुका है। पिछले साल एक बार तापमान 40 डिग्री तक पहुंचा था। वहीं, पूरे महीने 1 इंच से अधिक बारिश दर्ज की गई थी।