हॉस्पिटल में मृत बच्चे का जन्म:डॉक्टरों पर लापरवाही का आरोप, जमकर हंगामा, CMO ने दिया जांच का आश्वासन
हॉस्पिटल में मृत बच्चे का जन्म:डॉक्टरों पर लापरवाही का आरोप, जमकर हंगामा, CMO ने दिया जांच का आश्वासन
सीतापुर के रेउसा कस्बे में स्थित लखनऊ सेवा हॉस्पिटल में एक गर्भवती महिला की डिलीवरी के दौरान नवजात की मौत का मामला सामने आया है। मृत बच्चे के जन्म के बाद परिजनों ने अस्पताल प्रशासन पर गंभीर लापरवाही का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया। परिजनों का आरोप है को रविवार की शाम 25 वर्षीय क्रांति देवी को आशा कार्यकर्ता शोभा द्वारा अस्पताल में भर्ती कराया गया था। रात में हुई डिलीवरी में मृत शिशु का जन्म हुआ, जिसके बाद सोमवार को परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। अस्पताल के संचालक डॉक्टर हाजी एम रजा ने लापरवाही के आरोपों को खारिज करते हुए दावा किया कि बच्चे की मौत मां के पेट में ही हो चुकी थी। उन्होंने अस्पताल का वैध रजिस्ट्रेशन होने की भी बात कही। स्थानीय लोगों का आरोप है कि रेउसा के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के आसपास स्थित प्राइवेट अस्पतालों में लगातार इस तरह की घटनाएं हो रही हैं और नवजात शिशुओं की जान से खिलवाड़ किया जा रहा है। मामले को गंभीरता से लेते हुए मुख्य चिकित्साधिकारी डॉक्टर कमलेश चंद्रा ने जांच के आदेश दिए हैं। कई घंटों के विवाद के बाद परिजनों और अस्पताल प्रबंधन के बीच समझौता हुआ, जिसके बाद परिजन मृत नवजात का शव लेकर घर चले गए।
सीतापुर के रेउसा कस्बे में स्थित लखनऊ सेवा हॉस्पिटल में एक गर्भवती महिला की डिलीवरी के दौरान नवजात की मौत का मामला सामने आया है। मृत बच्चे के जन्म के बाद परिजनों ने अस्पताल प्रशासन पर गंभीर लापरवाही का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया। परिजनों का आरोप है को रविवार की शाम 25 वर्षीय क्रांति देवी को आशा कार्यकर्ता शोभा द्वारा अस्पताल में भर्ती कराया गया था। रात में हुई डिलीवरी में मृत शिशु का जन्म हुआ, जिसके बाद सोमवार को परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। अस्पताल के संचालक डॉक्टर हाजी एम रजा ने लापरवाही के आरोपों को खारिज करते हुए दावा किया कि बच्चे की मौत मां के पेट में ही हो चुकी थी। उन्होंने अस्पताल का वैध रजिस्ट्रेशन होने की भी बात कही। स्थानीय लोगों का आरोप है कि रेउसा के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के आसपास स्थित प्राइवेट अस्पतालों में लगातार इस तरह की घटनाएं हो रही हैं और नवजात शिशुओं की जान से खिलवाड़ किया जा रहा है। मामले को गंभीरता से लेते हुए मुख्य चिकित्साधिकारी डॉक्टर कमलेश चंद्रा ने जांच के आदेश दिए हैं। कई घंटों के विवाद के बाद परिजनों और अस्पताल प्रबंधन के बीच समझौता हुआ, जिसके बाद परिजन मृत नवजात का शव लेकर घर चले गए।